नैनीताल से अल्मोड़ा की दूरी: यात्रा के दौरान देखने लायक स्थल और सुझाव

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1. परिचय नैनीताल से अल्मोड़ा की दूरी

नैनीताल और अल्मोड़ा का संक्षिप्त परिचय :

नैनीताल जो की उत्तराखंड राज्य के कुमाऊ मंडल मै एक टूरिस्ट प्लेस है  और खूबसूरत हिल स्टेशन है |नैनीताल  की खोज पी  बैरन ने की थी |यह एक सुंदर हिल स्टेशन है।

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image credit-Photo by Supratik Deshmukh on Unsplash

जो नैनीताल की खूबसूरत। झील के किनारे बसा हुआ है। और नैनीताल की हरियाली और वहाँ का वातावरण ऐसा है कि सारे पर्यटन मंत्रमुग्ध हो जाते हैं। इसलिए एक बार आप नैनीताल का सफर अवश्य करें।

और वहाँ की सुंदरता को निहारे । वास्तव में नैनीताल अपने आप में स्वर्ग है। इसकी ऊँचाई समुद्र तल  से लगभग। 2084 मीटर है। और यहाँ आके आपको नैनीताल के अंदर आपको बहुत सारी ऐसी चीजें हैं जो देखने को मिलेंगी ।

नैनीताल का परिद्रश्य :

नैनीताल का ईतिहास और यहाँ का कल्चर बिल्कुल अलग है लोग यहाँ पर शांति की तलाश में घूमने के लिए आते है यहाँ आपको ब्रिटिश टाइम के बहुत सारी चीजे देखने को मिल जाएँगी

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image credit-Photo by Sudhanshu Yadav on Unsplash

यहाँ पर बनी ब्रिटिश टाइम की बिल्डिंग और उन पर बनी नक्काशी आपको घूर कर उस जगह को देखने को मजबूर कर देगी | यहाँ पर काफी धार्मिक स्थल भी है

जैसे  ,गुरुद्वारा , आपको माँ नंदा देवी का मंदिर ,जामा मस्जिद ,चर्च आदि ये सभी धार्मिक चीजे आपको यहाँ पर देखने को मिलेगी

अल्मोड़ा: सांस्कृतिक धरोहर का संगम

अल्मोड़ा उत्तराखंड के कुमाऊं क्षेत्र में स्थित अल्मोड़ा एक ऐतिहासिक और सांस्कृतिक महत्व का शहर है। समुद्रतल से  इसकी ऊंचाई  लगभग 1,638 मीटर की है अल्मोड़ा शहर प्राचीन मंदिरों और विशाल सांस्कृतिक विरासत के लिए बहुत ही प्रसिद्ध  है।  

कहते है की सन 1560 में राजा चंद वंश के शासक बालो कल्याण ने इस नगर की स्थापन की थी इसको सांस्कृतिक नगरी इसलिए भी कहा जाता है अगर आप अल्मोड़ा में घूमेंगे तो आपको हर गली मोहल्ले में सांस्कृतिक झलक जरूर देखने को मिलेगी|

तरफ मंदिर और और हमारे पहाड़ी कल्चर की नक्काशी और सजावट हर घरो के दरवाजो और खिड़कियों में देखने को मेलेगी |यहाँ आपको चितई गोलू मंदिर कसार देवी,रघुनाथ मंदिर ,और बहुत सारे प्राचीन मंदिर देखने को मिल जायेंगे |

नैनीताल और अल्मोड़ा की तुलना :

नैनीताल और अल्मोड़ा दोनों में बहुत फर्क है नैनीताल एक ठंडी जलवायु का शहर है वही अल्मोड़ा गरम और माध्यम ठंडी जलवायु का और अल्मोड़ा सांसकृतिक नगरी के रूप मै विराजमान है

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image credit-Photo by Ahmad Attari on Unsplash

 

अगर आप उत्तराखंड में आकार इन दोनों स्थानों की यात्रा करते है तो आप को स्वयं पता चल जायेगा की कोन  सा शहर ज्यादा आकर्षित व खास है |

नैनीताल से अल्मोड़ा की दूरी" की सामान्य जानकारी :

नैनीताल से अल्मोड़ा की दूरी नैनीताल से अल्मोड़ा की दूरी लगभग 66  किलोमीटर है। यह दूरी का आकलन  सड़क से किया जाता है  यात्रा की स्थिति कई चीजो पर भी निर्भर करती है जैसे की रास्तो का सही होना रास्तो में किसी भी प्रकार की बाधा का न होना |और हम जिस वाहन से जा रहे है उस की गति कितनी है ये सभी चीजी जब सही स्थिति में हो तो तो ही यात्रा का सफ़र अच्छा और आनंद मय हो जाता है

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Image credit-Photo by Shivansh Singh on Unsplash

और सफ़र 2 से 3 घंटे में पूरा हो जाता है | जिन लोगो को रोज की आदत होती है उनके लिए यहाँ सफ़र आम हो जाता है लेकिन जो पर्यटक घूमने के लिए आते है

उनको मेरी सलाह है की पहा का सफ़र घुमावदार होता है  ऊँचे नीचे  रोमांचित करने वाले पहाड़ होते ही इसलिए वाहन को धीरे चलाये और प्रकृति का आनंद ले |  

2-नैनीताल से अल्मोड़ा की दूरी: मार्ग और समय

नैनीताल से अल्मोड़ा की दूरी  लगभग 66  किलोमीटर की है । यह सफ़र पहाड़ के रास्तो से होकर गुजरता है पहाड़ी रास्तो में आपको खूबसूरत जगह मिलेगे जैसे आप नैनीताल से अपनी यात्रा शुरु करते है

तो सबसे पहले  यात्रा पहाड़ी इलाकों से गुजरती है, जो सुंदर दृश्यों के साथ थोड़ा मुश्किल भी हो सकती है। नैनीताल से अल्मोड़ा जानेआप को भवाली मिलेगा

जहा पर आपको उस जगह के फल फूल आदि चीजे देखने को मेलेगी ,फिर आप आगे बढ़ेगे तो आप को गरम पानी जहा पर पर्यटक भोजन करते है और रास्तो में पड़ने वाले सुंदर से गाव जो आपको रोमांचित कर देगे

अपनी खूबसूरती से यहाँ पर पहुचने में आपको 2 से 3 घंटे का समय भी लग सकता है वो सारी चीजे निर्भर करती है मौसम कैसा है रास्ते सही है  या नहीं गाड़ी की स्पीड क्या है रास्तो  में आपको ऊँचे नीचे स्वर्ग  से पहाड़ दिखाई देंगे जिनको देखकर आप को एक अलग अनुभूति का अहसास होता है |

3-सार्वजनिक परिवहन के विकल्प

नैनीताल से अल्मोड़ा की दूरी  तय करने  के लिए नैनीताल से अल्मोड़ा  के लिए कई  परिवहन सुविधाए उपलब्ध है यहाँ पर उत्तराखंड सरकार की उत्तराखंड ट्रांसपोर्ट की बस से नैनीताल से अल्मोड़ा का सफ़र आप  कर सकते है जिनमे आपको किराया भी सही पड़ेगा | आपको प्राइवेट टूर ओपेर ओपेटर की लक्जुरी बस भी मिल जाएँगी 

नैनीताल से अल्मोड़ा की दूरी
image credit-Photo by Hobi industri on Unsplash

और अगर आप टैक्सी के माध्यम से जाना चाहते है तो आप बुक कर के और शेयरिंग में भी बड़े ही आसानी से पहुच सकते है अल्मोड़ा | यहाँ  पहुचने में 2 घंटे का समय लगता है |

4-यात्रा के दौरान प्रमुख देखने लायक स्थल

भवाली :

नैनीताल से अल्मोड़ा की दूरी  तय करने और यात्रा के दौरान आपको सबसे पहले भवाली के दर्शन होगे  भवाली अपनी प्राकृतिक सुन्दरता और अपने ख़ूबसूरती के लिए  प्रसिद्ध है  यह एक छोटा सा हिल स्टेशन है यहाँ पर आपको तरह तरह के पहाड़ी फल सब्जी देखने को मिल

कैंची धाम :

भवाली से आगे बढ़ने  के बाद आपको निगलाट  होते हुए आप पहुचेगे कैंची धाम जहा पर नीम करोरी महाराज जी का आश्रम है जहा का वातावरण इतना खूबसूरत है की आप उस स्थान पर बिना रुके नहीं रह पायेगे |फिर  आपको नैनीताल से अल्मोड़ा की दूरी और भी कम लगने लगेगी |

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अल्मोड़ा : और फिर आप अपनी सांस्कृतिक नगरी अल्मोड़ा में प्रवेश कर जाते है जहा चारो और से हरी भरी पहाड़िया यहाँ का सुंदर वातावरण और चारो दिशाओ से मंदिरों का अस्तित्व यहाँ की खूबसूरती में चार चाँद लगा देता है |

5- नैनीताल से अल्मोड़ा तक यात्रा करने के सुझाव

यात्रा का समय: अप्रैल से जून और सितंबर से नवंबर के महीने, जब मौसम हल्का और सुहावना होता है, ये समय यात्रा करने का सबसे अच्छा समय है। यात्रा की योजना बनाने से पहले मौसम की जानकारी होना भी जरूरी है  क्यों की पहाड़ी इलाको में कब बारिस आ जाये इसकी कोई जानकारी नहीं है |

सड़क की स्थिति देखें: पहाड़ी मार्ग पर यात्रा करने से पहले सड़क की स्थिति और यातायात की जानकारी होना बहुत जरूरी है । यात्रा की योजना बनाते समय हमको लोकल स्थान की यतयात्रा स्थानीय मौसम और सड़क पर काम की स्थिति को ध्यान में रखें।

सार्वजनिक परिवहन के लिए टिकट बुकिंग: अगर आप बस या टैक्सी का उपयोग कर रहे हैं तो पहले से बुकिंग करा ले स्थानीय बस स्टेशनों या टैक्सी सेवाओं से संपर्क कर आप उनकी जानकारी भी प्राप्त कर सकते है |

कपड़े और सामान:यात्रा के दौरान आरामदायक कपड़े पहनें और पैदल चलने के लिए अच्छे जूते पहनें। पहाड़ी क्षेत्रों में जल्दी मौसम बदल सकता है, इसलिए आपको कुछ गर्म कपडे भी अपने साथ रखने चहिये |

पानी और नाश्ता: यात्रा के दौरान पर्याप्त पानी और स्नैक्स अपने साथ रखें। ताकि आपको पहाड़ी मार्ग पर यात्रा करने में किसी भी प्रकार की दिक्कत न हो | क्यों की पहाड़ी रास्तो में होटल ज्यादा देर तक भी नहीं खुले रहते है

सामान की पैकिंग: यात्रा के लिए आवश्यक वस्त्र, दवाइयाँ, सनस्क्रीन, और कैमरा साथ में रखें। अगर आप लंबी यात्रा कर रहे हैं, तो एक छोटी मेडिकल किट भी रखें। ये आपको आपकी यात्रा में काम आएगी | 

स्थानीय जानकारी: नैनीताल और अल्मोड़ा दोनों ही जगह स्वर्ग से सुंदर है लेकिन पहाड़ की यात्रा करने से पहले इन्टरनेट या जानकर लोगो से वहा की पूरी जानकारी ले लेनी चाहिये | ताकि यात्रा के समय आप को किसी भी प्रकार की कोई दिक्कत न हो | 

सुरक्षित ड्राइविंग: अगर आप खुद गाड़ी चला रहे हैं, तो सावधानीपूर्वक गाड़ी चलाये । पहाड़ के रास्ते टेड़े मेढे होते है, इसलिए धीमी गति से चलना और सतर्क रहना बहुत जरूरी है।

निश्चित स्थानों पर ठहराव: यात्रा के दौरान कुछ मुख्य स्थानों पर  रुकने का समय निर्धारित करें। जैसे भवाली, कैंची धाम , जहाँ आप पहाड़ के सुंदर द्रश्य  का आनंद ले सकते हैं।

स्थानीय संस्कृति का सम्मान: यात्रा के दौरान स्थानीय संस्कृति और परंपराओं का सम्मान करें। यह आपके यात्रा अनुभव को और भी समृद्ध बनाएगा।

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6- यात्रा के दौरान स्थानीय अनुभव

स्थानीय मार्केट:

नैनीताल से अल्मोड़ा की  दूरी  तय करने के बाद आप  अल्मोड़ा  की सुंदर सी बाज़ार में पहुचते है |  बाज़ार में आपको अल्मोड़ा का ऐतिहासिक कल्चर  देखने को मिलेगा  शाम के समय अल्मोड़ा की बाज़ार की रोनक देखने को मिलेगी यहाँ बाज़ार के बीचो बीच मै स्तिथ है |

माँ नंदा देवी का मंदिर काफी यात्री यहाँ आकर दर्शन करते है यहाँ की लाला बाज़ार जो अल्मोड़ा का मुख्य आकर्षण का केन्द्र है अल्मोड़ा की बाल मिठाई  पूरी दुनिया में फेमस है

खानपान और स्थानीय भोजन के सुझाव:

अल्मोड़ा में खानपान:

अल्मोड़ा में भट्ट की चुरपानी एक लोकप्रिय स्थानीय व्यंजन है। ये काले भट्ट से बनाया जाता है इसको रोटी और चावल दोनों के साथ खाया जाता है |ये हमारे कुमाऊ की प्रसिद्ध डिश है

कुमाऊनी खाना: कुमाऊनी खाना भी अल्मोड़ा में आपको मिल जायेगा । इसमें “भांग की चटनी”, “गहत की दाल” और “आलू के गुटके” और रायता ये सब चीजे शामिल रहतीं हैं।

सब्जियां और अन्य फल: अल्मोड़ा और आसपास के इलाकों में फल बहुत जायदा मात्र में होता है सेब,नाशपाती ,पहाड़ी अंगूर,और पुलम यहाँ के गावो में काफी ज्यादा में सीजन के टाइम में होता है  

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7- समापन और यात्रा के फायदे

नैनीताल से अल्मोड़ा की यात्रा आपको एक अनूठा और दिलचस्प अनुभव देगी। जब आप अपनी यात्रा पूरी करेंगे, आप कई उपहार और यादें लेकर लौटेंगे जो आपकी यात्रा को सार्थक बनाएंगे और आपके जीवन को ऊर्जा देंगे। यात्रा के कुछ महत्वपूर्ण लाभों को देखें:

प्राकृतिक सौंदर्य का आनंद: नैनीताल से अल्मोड़ा की यात्रा में आपको हिमालय की सुंदर चोटियों, हरे-भरे पहाड़ों और ठंडी हवा का आनंद मिलेगा। यह प्राकृतिक सौंदर्य आपको ताजगी और शांति देता है।

स्थानीय संस्कृति से जुड़ा अनुभव:यात्रा के दौरान आप कुमाऊंनी परंपराओं और संस्कृति को करीब से जान सकते हैं। स्थानीय बाजार, भोजन और सांस्कृतिक स्थान आपको यहाँ की धरोहर और जीवनशैली को समझने में मदद करेंगे।

तनावमुक्ति और मनोवैज्ञानिक ताजगी: पहाड़ी क्षेत्रों में समय बिताने से आपको ऊर्जा मिलती है और आपका मानसिक तनाव कम होता है। नैनीताल और अल्मोड़ा में ठंडा मौसम और शांत वातावरण आपके मन को ताजगी देता है।

स्वास्थ्यकर जीवनशैली:पहाड़ी क्षेत्रों की यात्रा आपके स्वास्थ्य के लिए फायदेमंद है क्योंकि यह आपको शारीरिक व्यायाम की अनुमति देता है, जैसे ट्रेकिंग और पैदल चलना। ताजे फल और साफ-सुथरी हवा भी आपकी सेहत को बेहतर बनाए रखते हैं।

स्मृतियाँ और घटनाएँ:यात्रा के हर समय आपको अनगिनत यादें और अनुभव मिलेंगे। आपकी यात्रा को खास बनाने के लिए कुछ भी कर सकते हैं, चाहे वह स्थानीय भोजन का स्वाद हो, एक सांस्कृतिक स्थान की खोज हो या स्थानीय लोगों से बातचीत हो।

सामाजिक संबंध और संबंध: यात्रा के दौरान नए लोगों से मिलना और उनके अनुभव सुनना आपके सामाजिक नेटवर्क और सोच को बढ़ाता है। भविष्य में भी ये बातचीत और संबंध फायदेमंद हो सकते हैं।

आत्म-निरीक्षण और संतोष: यात्रा के दौरान आपको खुद को नए रूपों में देखने का मौका मिलता है, जो आपको आत्म-निरीक्षण और आत्म-संतोष देता है। नए स्थानों और अनुभवों से आपका विचार बदलता है और आप अपने आप को अधिक जानने लगते हैं। 

8-निष्कर्ष

नैनीताल से अल्मोड़ा की यात्रा एक अनमोल अनुभव है जो आपको स्थानीय संस्कृति, भोजन, ऐतिहासिक स्थानों और सुंदर प्राकृतिक दृश्यों से भी परिचित कराती है।

कुमाऊंनी संस्कृति और जीवनशैली को करीब से जानने के अलावा, आप इस यात्रा पर हिमालय की सुंदर वादियों का आनंद लेंगे। पहाड़ी इलाकों के शांत वातावरण में आपको मिलने वाली शांति और मानसिक ताजगी इस यात्रा का सबसे बड़ा लाभ है।

नैनीताल और अल्मोड़ा की यात्रा को विभिन्न दर्शनीय स्थलों, स्थानीय बाजारों और सांस्कृतिक स्थानों से भरपूर और दिलचस्प बनाया जा सकता है। यहाँ का पारंपरिक भोजन और स्थानीय हस्तशिल्प आपके अनुभव को और भी विशिष्ट बना देते हैं।

यात्रा का अंत हमारी बहुत सारी यादो के साथ होता है   यह यात्रा आपको न सिर्फ नई ऊर्जा और प्रेरणा देगी, बल्कि एक सुखद यात्रा का अनुभव भी करायेगी । नैनीताल और अल्मोड़ा की यात्रा आपको एक नयी उर्जा और प्रेरणा देती है |

यह यात्रा आपके जीवन में एक अनमोल धरोहर बन जाती है, जो आपके दिल को हमेशा छूती रहेगी और आपकी आत्मा को ताजगी देती रहेगी।

3 thoughts on “नैनीताल से अल्मोड़ा की दूरी: यात्रा के दौरान देखने लायक स्थल और सुझाव”

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